PM मोदी बोले- नीति आयोग का एक ही लक्ष्य है, 'सबका साथ, सबका विकास'

दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में नीति आयोग के गवर्निग कांउसिल की पांचवीं बैठक चल रही है. प्रधानमंत्री के संबोधन के साथ ही शनिवार दोपहर को नीति आयोग संचालन परिषद की बैठक शुरू हुई. इस दौरान पीएम मोदी ने कहा, 'सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्‍वास के मंत्र को पूरा करने में नीति आयोग की अहम भूमिका है.'

पीएम मोदी ने कहा कि भारत को 2024 तक 5,000 अरब डाॅलर की अर्थव्यवस्था बनाने का लक्ष्य चुनौतीपूर्ण है, लेकिन अगर राज्यों के संयुक्त प्रयास से इसे हासिल किया जा सकता है. राज्य सरकारें निर्यात संवर्द्धन पर ध्यान दें. लोगों की आय और रोजगार के अवसर बढ़ाने में निर्यात क्षेत्र की महत्वपूर्ण भूमिका है.



प्रधानमंत्री ने कहा कि नवगठित जल शक्ति मंत्रालय जल प्रबंधन के विषय में एक समन्वित दृष्टिकोण अपनाने में मदद करेगा. राज्यों को भी जल संरक्षण और प्रबंधन के क्षेत्र में अपने विभिन्न प्रयासों को समन्वित करना चाहिए. हम कार्य-प्रदर्शन, पारदर्शिता और प्रतिपादन की विशेषता वाली शासन व्यवस्था की ओर बढ़ रहे हैं.

ममता, के चंद्रशेखर राव और कैप्टन अमिरंदर नहीं हुए शामिल


इस बैठक में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव और पंजाब के मुख्‍यमंत्री कैप्‍टन अमरिंदर सिंह को छोड़कर सभी राज्यों के मुख्यमंत्री, केंद्र शासित प्रदेशों के उपराज्यपाल और सभी वरिष्ठ केंद्रीय मंत्री हिस्सा ले रहे हैं. हालांकि कैप्‍टन अमरिंदर सिंह ने भी अपना प्रतिनिधि भेजा है.

इन मुद्दों पर चर्चा

दरअसल, प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में शनिवार दोपहर नीति आयोग के संचालन परिषद की पांचवीं बैठक चल रही है. इस बैठक में सूखे की स्थिति, कृषि क्षेत्र के संकट, वर्षा जल संचयन और खरीफ फसल के लिए तैयारियों के मुद्दे पर विचार-विमर्श होगा. सूत्रों के अनुसार, बैठक के पांच सूत्री एजेंडा में आकांक्षी जिला कार्यक्रम, कृषि में बदलाव और सुरक्षा संबंधी मुद्दे भी शामिल हैं. बैठक में विशेषरूप से नक्सल प्रभावित जिलों पर विचार-विमर्श होगा.

नई सरकार की पहली बैठक

राष्ट्रपति भवन में रही इस बैठक में राज्यों के मुख्यमंत्री, केंद्र शासित प्रदेशों के उपराज्यपाल, कई केंद्रीय मंत्री और वरिष्ठ सरकारी अधिकारी भाग ले रहे हैं. नई नरेंद्र मोदी सरकार में संचालन परिषद की यह पहली बैठक है.

कौन-कौन है मीटिंग में
राष्ट्रपति भवन में आयोजित बैठक की अध्यक्षता प्रधानमंत्री कर रहे हैं. नई मोदी सरकार के कार्यकाल में यह संचालन परिषद की पहली बैठक है. बैठक में गृह मंत्री अमित शाह, सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह भी शामिल हैं. बैठक के एजेंडा में वर्षा जल संचयन, आकांक्षी जिला कार्यक्रम, कृषि क्षेत्र में संरचनात्मक बदलाव के मुद्दे भी शामिल हैं.

प्रधानमंत्री की अगुवाई वाली संचालन परिषद के सदस्यों में सभी राज्यों के मुख्यमंत्री, संघ शासित प्रदेशों के उपराज्यपाल, कई केंद्रीय मंत्री और वरिष्ठ सरकारी अधिकारी शामिल हैं. बैठक में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाई एस जगनमोहन रेड्डी, कर्नाटक के मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी भाग ले रहे हैं.

कब-कब हुई बैठक
संचालन परिषद की बैठक में पिछली बैठकों पर हुई कार्रवाई की समीक्षा की जाती है और साथ ही भविष्य की विकास से संबंधित प्राथमिकताएं तय की जाती हैं. अभी तक प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में संचालन परिषद की चार बैठकें हो चुकी हैं.

संचालन परिषद की पहली बैठक आठ फरवरी, 2015 को हुई थी जिसमें प्रधानमंत्री ने नीति आयोग के लिए प्रमुख कामकाज तय किए थे. इनमें सहकारिता के संघवाद को बढ़ावा देना और राज्यों की सक्रिय भागीदारी के जरिये राष्ट्रीय मुद्दों को हल करना प्रमुख रूप से शामिल है. संचालन परिषद की दूसरी बैठक 15 जुलाई, 2015 को हुई थी जिसमें मुख्यमंत्रियों के तीन उप समूहों और दो कार्यबलों की प्रगति की समीक्षा की गई.

इसी तरह संचालन परिषद की तीसरी बैठक 23 अप्रैल, 2017 को हुई जिसमें मोदी ने लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के चुनाव साथ साथ कराने तथा वित्त वर्ष को जनवरी-दिसंबर करने पर बल दिया था. संचालन परिषद की चौथी बैठक 17 जून, 2018 को हुई थी जिसमें किसानों की आमदनी दोगुना करने और सरकार की प्रमुख योजनाओं में हुई प्रगति के उपायों पर विचार विमर्श किया गया.